दिल्ली एनसीआर में भूकंप के झटके महसूस किए गए। ये झटके काफी देर तक महसूस किए गए। भूकंप का केंद्र अफगानिस्तान में बताया जा रहा है. रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.5 मापी गई है। भारत के साथ पाकिस्तान, ताजिकिस्तान, चीन में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए. इसके अलावा अहमदाबाद में 6.4 तीव्रता का भूकंप महसूस किया गया.
दिल्ली-एनसीआर के साथ ही आज (24 जनवरी) उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। उत्तराखंड के जोशीमठ और रामनगर में भूकंप के झटके महसूस किए गए और उत्तर प्रदेश के लखनऊ में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। प्रारंभिक आंकड़ों के मुताबिक, भूकंप की तीव्रता 5.8 थी। भूकंप का केंद्र नेपाल में था, जिसकी गहराई जमीन से 10 किलोमीटर नीचे थी।
#WATCH | J&K: People in Srinagar rush out of their houses as strong tremors of earthquake felt in several parts of north India. pic.twitter.com/7pXAU0I1WX
— ANI (@ANI) March 21, 2023
दिल्ली, यूपी, मध्य प्रदेश, हरियाणा, चंडीगढ़, उत्तराखंड समेत कई राज्यों में भूकंप के झटके महसूस किए गए. बिहार से हिमाचल तक धरती कांप रही है। यूपी के संभल, मुरादाबाद, अमरोहा और रामपुर में दोपहर ढाई बजे भूकंप के झटके महसूस किए गए. अचानक आए भूकंप से लोग अपने घरों से बाहर निकल आए। शाहजहांपुर में भी हल्के झटके महसूस किए गए। इसके साथ ही बरेली में भी भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए हैं.
उत्तराखंड में भी भूकंप के झटके
दूसरी ओर उत्तराखंड में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए. उत्तराखंड में जोशीमठ त्रासदी के बीच मंगलवार को भूकंप के झटकों से धरती दहल उठी. दोपहर 2 बजकर 29 मिनट पर गढ़वाल और कुमाऊं के कई इलाकों में भूकंप के झटके महसूस किए गए. वहीं, पिथौरागढ़ आपदा प्रबंधन विभाग के मुताबिक भूकंप की तीव्रता 5.8 मापी गई है. चमोली जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदकिशोर जोशी ने बताया कि भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए। कहीं कोई नुकसान की सूचना नहीं है।
5 जनवरी को दिल्ली-एनसीआर में तेज भूकंप महसूस होने से पहले भारत ने पिछले साल 400 से अधिक भूकंपों का अनुभव किया था । जम्मू-कश्मीर में भी धरती कांप उठी। वहां मौजूद लोगों ने भी भूकंप के तेज झटके महसूस किए। इस भूकंप की तीव्रता 5.9 मापी गई। इसका केंद्र अफगानिस्तान का हिंदू कुश क्षेत्र था। पिछले साल भारत में 400 से अधिक भूकंप दर्ज किए गए थे। वैज्ञानिकों का कहना है कि पृथ्वी के अंदर की ऊर्जा का केवल 2 प्रतिशत ही छोड़ा गया है।