Tuesday, December 5, 2023

यहां है दुनिया का एकमात्र मंगल ग्रह देवता का मंदिर, जानिए मंदिर की रोचक कहानी….

मंदिर के बारें मे कुछ जानकारी- अमलनेर का श्री मंगल देवता ग्रह मंदिर समुच्च भारत का अतिप्राचीन, अतिदुर्लभ तथा अति जागृत मंदिर हैं | जानकारों के मत नुसार भारत में केवल दो या चार स्थानों पर ही स्वतंत्र रूप से श्री मंगल देवता ग्रह के मंदिर है| अमलनेर में स्थित श्री मंगल देवता ग्रह मंदिर का निर्माण का निर्माण किया? वहॉ कि मूर्ती किसने बनाई? मूर्ती कि स्थापना किसने की? इस संबंध मे विश्वसनीय तथा प्राधिकृत जानकारी उपलब्ध नही हैं|

कुछ लोगों का ऐसा मानना है कि १९३३ में पहली बार इस मंदिर का जीर्णोद्धार हुआ था | १९४० से मंदिर उचित रख-रखाव के अभाव में खंडहरनुमा हो गया था | वर्तमान में मंदिर का परिवेश प्राकृतिक सोंदर्य संपदा से संपन्न और भव्य दृष्टि गोचर है |

मंदिर परिसर और निवास-

अमळनेर के श्री मंगळदेव ग्रह मंदिर बहोत प्राचीन, दुर्लभ और मशहूर के वजह से स्थान के बारे में हर तरफ पता है| मंदिर क्षेत्रके दो हॉल, तुलसी बगीचा, वाटर रोकनेके लिए छह बंधारे, फव्वारा, शानदार प्रकाश, सुरम्य स्थानों, कैन्टीन, बच्चों को खेलने केलिए रोटरी गार्डन में का निर्माण, लाइव खरगोश, मछली, शंख, भक्तों आवास और ‘खाना पकाने के लिए बहोत प्रकारकी सेवाओं और सुविधाओं इस वजह से मंदिर के कारण के सभी प्रकार पिकनिक स्पॉट और ‘पर्यटक’ के रूप में प्रसिद्ध हो गया।

इतने सारे स्कूलों, कॉलेजों, संगठनों, राजनीतिक दलों, संगठनों, क्लब, क्लब, समाज, सामाजिक, धार्मिक, सांस्कृतिक संस्थाओं और विभिन्न कार्यक्रमों यात्रा के लिए आते है| उनको मंदिर के तरफ से सहयोग करते हैं। इस के लिए मंदिर प्रबन्धन समिती से अनुमति आवश्यक है | अनुमति देना या न देने का अधिकार प्रबंधन समिती के पास सुरक्षित है |

जबकी १९९९ से पूर्व यही अहाता म्युनिसिपाल्टी का कुडा-कर्कट जमा करने का स्थान था | यह अहाता गांजा पीने वालों के लिए तथा अपराधीयों के छुपने के लिये कुख्यात था | इस पर हमारा-आपका विश्वास नही होगा, पर यह सच है|

अमलनेर का श्री मंगल देवता ग्रह मंदिर समुचे भारतका अतिप्राचीन, अतिदुर्लभ तथा अति जागृत मंदिर हैं |अमलनेर, भारत बोरी नदी एक शहर और महाराष्ट्र राज्य के जलगांव जिले में एक नगर पालिका परिषद, तट पर स्थित है। अमलनेर जलगांव जिले में एक गांव है। अमलनेरके श्री मंगळदेव ग्रह मंदिर संपूर्ण भारत मैं अतिप्राचीन, अतिदुर्मिळ व अतिजागृत का एक प्राचीन मंदिर है। जानकारोके अनुसार, पुरे भारत मैं अलग से श्री मंगळदेव ग्रह बहुत दुर्लभ हैं। अमलनेर को आने के लिए धुले और जलगाँव के माध्यम से वहाँ दो तरीके हैं । अमलनेर जलगांव से 54 किमी दूर है। धुले अमलनेर 36.9 किलोमीटर की दूरी पर है। जळगाव वरून ट्रेन, बस या खासगी वाहन हो सकता है। धुले से अमळनेर की तरफ सार्वजनिक बसों और खासगी वाहन बहुत सारे हैं।

अमलनेर बस आगर के श्री मंगल ग्रह के लिए मंदिर रास्ता २.१ किमी दूर है और मंदिर तक के लिए कई खासगी वाहनों में उपलब्ध हैं।

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